मृत्यु आठ प्रकार की होती है।


 

मृत्यु आठ प्रकार की होती है।

 

व्यथा दुखं भयं लज्जा रोगो शोकस्तथैव च मरणंचापमानं च मृत्युरष्टविधः स्मृतः।।   


 

1)    व्यथा अर्थात निरन्तर क्लेशग्रस्त रहना । 

2)     लगातार दुःख से घिरा रहना ।

3)     सदा भयग्रस्त रहना ।

4)     कोई ऐसी बात हो जाए कि हर जगह लज्जित होना ।

5)     भयंकर रोग से पीड़ित रहना ।

6)     पति/पत्नी अथवा पुत्रादिक के निधन पर होने वाला शोक भी मरण का प्रकार है ।

7)     सभा में अथवा सार्वजनिक अपमान होना ।

8)     शरीर से प्राण निकलना ।

ये मृत्यु के आठ प्रकार होते हैं ।